टिहरी : उत्तराखंड में बुधवार की पूरी रात हुई भारी बारिश से प्रदेशभर से नुकसान की खबरें वैसे तो देर रात को ही सामने आने लगी थी। आसमान से बारिश मौत बनकर बरसी। लेकिन, सुबह होने के साथ ही तबाह का जो मंदिर दिखा वो दिल दहलाने वाला है। नदी, नालो के किनारे की खेती पूर तरह से बर्बाद हो गई। रास्ते, पुल सब गए। मकानों को भी नुकसान पहुंचा है।

पति-पत्नी और बेटे की मौत 

टिहरी जिले के भिलंगना ब्लॉक के नौताड़ तोक में बादल फटने से एक ही परिवार के तीन लोगों की मौत हो गई। नौताड़ तोक में एक होटल बह गया। जिसमें होटल स्वामी भानु प्रसाद (50), उनकी पत्नी नीलम देवी (45) और बेटा वपिन (28) लापता थे। रेस्क्यू अभियान के दौरान भानु और उनकी पत्नी नीलम का शव घटनास्थल से 100 मीटर दूरी पर बरामद कर लिया गया है। लापता बेटा विपिन घायल अवस्था में मिला है।

बेटे को नहीं बचाया जा सका 

मलबा मुंह में भर जाने के कारण विपिन को सीने में तकलीफ और सांस लेने में कठिनाई हो रही थी। रात दो बजे विपिन को पिलखी से एम्स ले जाया गया। सभी आपातकालीन प्रयास और उपचार देने के बावजूद विपिन को बचाया नहीं जा सका।

मुख्यमंत्री ने किया फोन 

नौताड़ तोक में बादल फटने के बाद नुकसान को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जखन्याली ग्राम पंचायत की प्रधान के पति दीपक श्रीयाल से मोबाइल पर बात की। घटना में एक ही परिवार के तीन लोगों की मौत पर मुख्यमंत्री ने गहरा दुख व्यक्त किया। ग्रामीणों को हर संभव मदद का भरोसा दिया।

मुख्यमंत्री ने पूछा घटना के कितने देर बाद एसडीआरएफ, पुलिस और प्रशासन के अधिकारी पहुंचे। सीएम ने कहा वह अधिकारियों से वार्ता कर जल्द ही स्थितियों को सामान्य करने की दिशा में कार्य करने को कहेंगे।

ग्राम प्रधान के पति दीपक ने मुख्यमंत्री को बताया कि यहां पर बादल फटने की पुनरावृत्ति हुई है। 2014 में भी बादल फटने से काफी नुकसान हुआ था और इस बार भी फिर वही स्थिति उत्पन्न हुई है। उन्होंने नौताड़ तोक में निवासरत सभी 14 परिवारों का पुनर्वास करने की गुहार लगाई है

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